मानसिक स्वास्थ्य एवं आत्महत्या के रोकथाम को लेकर कार्यशाला का आयोजन
बीआर दर्शन | बक्सर
इंजीनियरिंग कॉलेज बक्सर में नैदानिक मनोवैज्ञानिक डॉक्टर कुमारी अनुराधा के द्वारा मानसिक स्वास्थ्य एवं आत्महत्या के रोकथाम के विषय पर एक कार्यशाला का आयोजन किया गया। इस कार्यशाला में डॉक्टर अनुराधा ने बच्चों से स्ट्रेस को हैंडल करने एंजाइटी के समय काउंसलिंग का सहारा लेने अपने परिवार के लोगों के साथ समय बिताने के विषय पर बात की।
डॉ अनुराधा ने कार्यशाला को संबोधित करने के क्रम में विभिन्न प्रकार के मानसिक विकार से संबंधित पहलुओं पर बात की। उन्होंने यह बताया की मानसिक बीमारी क्या है। जैसे शिजोफ्रेनिया, ओसीडी, पीटीएसडी फैक्टर मूड डिसऑर्डर, बाइपोलर डिसऑर्डर इत्यादि आत्महत्या के विचार के संदर्भ में उन्होंने एक वृहद व्याख्यान दिया। जिसमें उन्होंने बच्चों को ऐसी परिस्थितियों में क्या करना चाहिए और क्या नहीं करना चाहिए इस पर एक बड़ा महत्वपूर्ण चर्चा किया। बच्चों ने अपने सवाल पूछे जिनका जवाब उन्होंने दिया। बच्चों को जब भी किसी प्रकार की दिक्कत हो तो उन्हें सदर अस्पताल मानसिक स्वास्थ्य ओपीडी चेकअप कराना चाहिए। उन्होंने कहा कि अक्सर पढ़ाई के दौरान बच्चों पर मानसिक तनाव काफी रहता है जिसे कई बार बच्चे झेल नहीं पाते। परिजनों को भी बच्चों के दैनिक दिनचर्या को अवलोकन करते रहना चाहिए। बच्चों में किसी प्रकार के अचानक बदलाव आने पर उससे बात करना चाहिए, जरूरत पड़ने पर चिकित्सक की सलाह भी लेनी चाहिए।